उत्तर प्रदेश में अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, अन्य पिछड़ा वर्ग, और सामान्य वर्ग की जातियों की पूरी जानकारी
उत्तर प्रदेश, भारत का सबसे अधिक आबादी वाला राज्य, अपनी सामाजिक और सांस्कृतिक विविधता के लिए जाना जाता है। यहां की जातीय संरचना को समझना सामाजिक, शैक्षिक और आर्थिक नीतियों, विशेष रूप से आरक्षण प्रणाली के संदर्भ में महत्वपूर्ण है। भारत के संविधान के तहत अनुसूचित जाति (SC), अनुसूचित जनजाति (ST), अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC), और सामान्य (General) वर्ग में विभिन्न जातियों को वर्गीकृत किया गया है। हमारा यह लेख आपको उत्तर प्रदेश में इन वर्गों में शामिल जातियों की विस्तृत जानकारी प्रदान करता है, जो आधिकारिक स्रोतों जैसे सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय, राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग (NCBC), और उत्तर प्रदेश सरकार के डेटा पर आधारित है।
अनुसूचित जाति (SC) की जानकारी
अनुसूचित जातियां (SC) वे समुदाय हैं, जिन्हें भारत के संविधान के अनुच्छेद 341 के तहत सामाजिक और आर्थिक रूप से वंचित माना गया है। उत्तर प्रदेश में 66 अनुसूचित जातियां अधिसूचित हैं, जो सरकारी नौकरियों, शिक्षा, और अन्य क्षेत्रों में 21% आरक्षण का लाभ प्राप्त करती हैं। इन जातियों को ऐतिहासिक रूप से सामाजिक भेदभाव और आर्थिक शोषण का सामना करना पड़ा है, जिसके लिए संवैधानिक प्रावधान किए गए हैं। नीचे उत्तर प्रदेश में प्रमुख अनुसूचित जातियों की सूची दी गई है:
वर्ग | प्रमुख जातियां | विवरण |
---|---|---|
SC | चमार (धूसिया, झूसिया, जाटव, मोची, रबिदास, रविदास, रोहिदास, चर्मकार) | सबसे बड़ी SC जाति, मुख्य रूप से चमड़े के काम से जुड़ी। |
SC | पासी (तरमाली) | खेती और मजदूरी से जुड़ा समुदाय। |
SC | धोबी (रजक) | कपड़े धोने का पारंपरिक पेशा। |
SC | कोरी (कोली) | बुनाई और कृषि कार्य से संबंधित। |
SC | बाल्मीकी | सफाई कार्य से जुड़ा समुदाय। |
SC | डोम (धंगद, बंसफोर, धारीकर) | परंपरागत रूप से श्मशान कार्यों से संबंधित। |
SC | खटीक, कोरवा, शिल्पकार, बेलदार, बसोर, बावरिया, भुइया, भांटू, सहारिया, संसिया, बैगा | विभिन्न परंपरागत व्यवसायों से संबंधित। |
नोट: अनुसूचित जातियों की पूरी सूची सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय की वेबसाइट (socialjustice.gov.in) या उत्तर प्रदेश के ई-डिस्ट्रिक पोर्टल (edistrict.up.gov.in) पर उपलब्ध है। इन सूचियों में बदलाव का अधिकार केवल संसद के पास है। हाल ही में, 17 OBC जातियों (जैसे निषाद, मल्लाह, केवट) को SC में शामिल करने की मांग उठी है, लेकिन केंद्र सरकार ने इसे अस्वीकार कर दिया है।
अनुसूचित जनजाति (ST) की जानकारी
अनुसूचित जनजातियां (ST) वे आदिवासी समुदाय हैं, जो संविधान के अनुच्छेद 342 के तहत अधिसूचित हैं। उत्तर प्रदेश में ST की आबादी कुल जनसंख्या का लगभग 0.6% (2011 की जनगणना) है, और ये मुख्य रूप से कुछ विशिष्ट जिलों जैसे महराजगंज, सिद्धार्थ नगर, बस्ती, गोरखपुर, और मिर्जापुर में पाए जाते हैं। इन समुदायों को 2% आरक्षण का लाभ मिलता है। नीचे प्रमुख ST की सूची दी गई है:
वर्ग | प्रमुख जातियां | विवरण |
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ST | गोंड (धुरिया, ओझा, नायक, पथारी, राज गोंड) | मुख्य रूप से पूर्वी उत्तर प्रदेश के जिलों में। |
ST | थारू | तराई क्षेत्र में निवास, कृषि और वन्य कार्यों से जुड़े। |
ST | बुक्सा | आदिवासी समुदाय, मुख्य रूप से पश्चिमी उत्तर प्रदेश में। |
ST | भोटिया, जौनसारी, राजी, खरवार, सहारिया, पारधी, बैगा | विभिन्न आदिवासी समुदाय, जो परंपरागत जीवनशैली अपनाते हैं। |
नोट: अनुसूचित जनजातियों की पूरी सूची जनजातीय कार्य मंत्रालय (tribal.nic.in) पर उपलब्ध है। ये समुदाय मुख्य रूप से अपनी सांस्कृतिक और भौगोलिक विशिष्टता के लिए जाने जाते हैं।
अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) की जानकारी
अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) में वे जातियां शामिल हैं, जो सामाजिक और शैक्षिक रूप से पिछड़ी हैं, और इन्हें 27% आरक्षण का लाभ मिलता है। उत्तर प्रदेश में OBC की जनसंख्या लगभग 52% (2011 की जनगणना) है, और यह सूची राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग (NCBC) और उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा समय-समय पर अपडेट की जाती है। नीचे प्रमुख OBC जातियों की सूची दी गई है:
वर्ग | प्रमुख जातियां | विवरण |
---|---|---|
OBC | यादव (अहिर, ग्वाला) | कृषि और पशुपालन से जुड़ा समुदाय। |
OBC | कुर्मी (कुर्मी पटेल) | कृषि-आधारित समुदाय। |
OBC | लोधी | खेती और बागवानी से संबंधित। |
OBC | जाट, गुर्जर | कृषि और सामाजिक रूप से प्रभावशाली समुदाय। |
OBC | कुशवाहा (कोइरी, मौर्य, शाक्य) | खेती और व्यापार से जुड़े। |
OBC | निषाद (मल्लाह, केवट, मांझी, बिंद) | मछली पकड़ने और नौका संचालन से संबंधित। |
OBC | सैनी, तेली, कुम्हार (प्रजापति), कहार, राजभर, बारी, धीवर | विभिन्न परंपरागत व्यवसायों से जुड़े। |
OBC | मुस्लिम OBC (अंसारी, कुरैशी, मंसूरी) | हस्तशिल्प और व्यापार से संबंधित। |
नोट: OBC की पूरी सूची NCBC की वेबसाइट (ncbc.nic.in) पर उपलब्ध है। 2019 में उत्तर प्रदेश सरकार ने 17 OBC जातियों को SC में शामिल करने का प्रयास किया, लेकिन यह प्रस्ताव केंद्र द्वारा खारिज कर दिया गया।
सामान्य (General) वर्ग की जानकारी
सामान्य वर्ग में वे जातियां शामिल हैं, जो SC, ST, या OBC में अधिसूचित नहीं हैं। ये सामाजिक और शैक्षिक रूप से अपेक्षाकृत उन्नत मानी जाती हैं। 2019 में लागू आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग (EWS) कोटे के तहत सामान्य वर्ग के आर्थिक रूप से कमजोर लोगों को 10% आरक्षण का लाभ मिलता है। नीचे प्रमुख सामान्य वर्ग की जातियां दी गई हैं:
वर्ग | प्रमुख जातियां | विवरण |
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General | ब्राह्मण (शर्मा, मिश्रा, तिवारी, पांडे) | शिक्षा, पूजा-पाठ, और प्रशासनिक कार्यों से जुड़े। |
General | क्षत्रिय/ठाकुर (सिंह, राठौर, चौहान) | परंपरागत रूप से शासक और योद्धा समुदाय। |
General | वैश्य (गुप्ता, अग्रवाल, बरनवाल) | व्यापार और उद्यम से संबंधित। |
General | कायस्थ (श्रीवास्तव, सक्सेना) | लेखन और प्रशासनिक कार्यों से जुड़े। |
General | पंजाबी, सिख (जो SC/ST/OBC में नहीं) | व्यापार और अन्य पेशों से संबंधित। |
नोट: सामान्य वर्ग की कोई आधिकारिक सूची नहीं है, क्योंकि यह डिफॉल्ट श्रेणी है। EWS लाभ के लिए आय और संपत्ति (8 लाख रुपये प्रति वर्ष से कम) का प्रमाण पत्र आवश्यक है।
उत्तर प्रदेश में आरक्षण नीति
उत्तर प्रदेश में सरकारी नौकरियों और शैक्षिक संस्थानों में आरक्षण निम्नलिखित है:
- SC: 21%
- ST: 2%
- OBC: 27%
- EWS: 10% (सामान्य वर्ग के लिए)
यह नीति संविधान के अनुच्छेद 16 और 341/342 के तहत लागू है।
जाति प्रमाण पत्र और आधिकारिक स्रोत
जाति प्रमाण पत्र सरकारी योजनाओं और आरक्षण का लाभ उठाने के लिए आवश्यक है। इसे तहसील या जिला प्रशासन से प्राप्त किया जा सकता है। निम्नलिखित आधिकारिक स्रोतों से जानकारी सत्यापित की जा सकती है:
- सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय (socialjustice.gov.in): SC और ST की सूची।
- राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग (ncbc.nic.in): OBC की सूची।
- उत्तर प्रदेश ई-डिस्ट्रिक पोर्टल (edistrict.up.gov.in): जाति प्रमाण पत्र और अधिसूचित सूचियां।
- जनजातीय कार्य मंत्रालय (tribal.nic.in): ST से संबंधित जानकारी।
निष्कर्ष
उत्तर प्रदेश में SC, ST, OBC, और General वर्गों में शामिल जातियां सामाजिक और आर्थिक नीतियों का आधार हैं। यह लेख आधिकारिक स्रोतों पर आधारित है और नवीनतम जानकारी प्रदान करता है। यदि आप किसी विशिष्ट जाति या नीति के बारे में अधिक जानना चाहते हैं, तो आधिकारिक वेबसाइटों का उपयोग करें या स्थानीय प्रशासन से संपर्क करें। यह जानकारी छात्रों, शोधकर्ताओं, और सामान्य पाठकों के लिए उपयोगी है, जो उत्तर प्रदेश की सामाजिक संरचना को समझना चाहते हैं।
अस्वीकरण: यह लेख सूचनात्मक उद्देश्यों के लिए है। जाति की स्थिति की पुष्टि के लिए हमेशा आधिकारिक स्रोतों से सत्यापन करें।
—समाप्त—
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