कर्नाटक, भारत का एक सांस्कृतिक और सामाजिक रूप से विविध राज्य, विभिन्न जातियों और समुदायों का घर है, जिन्हें भारत के संविधान और कर्नाटक सरकार द्वारा अनुसूचित जाति (SC), अनुसूचित जनजाति (ST), अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC), और सामान्य (General) श्रेणियों में वर्गीकृत किया गया है। यह वर्गीकरण सामाजिक, आर्थिक, और शैक्षिक पिछड़ेपन के आधार पर किया जाता है, और इसका उद्देश्य समाज के वंचित वर्गों को आरक्षण और कल्याणकारी योजनाओं के माध्यम से सशक्त बनाना है।
इस लेख में, हम कर्नाटक में इन श्रेणियों में शामिल प्रमुख जातियों और समुदायों की विस्तृत जानकारी प्रदान करेंगे, जो प्रामाणिक स्रोतों जैसे कर्नाटक सरकार के सामाजिक कल्याण विभाग, राष्ट्रीय अनुसूचित जाति/जनजाति आयोग, और राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग पर आधारित है।
कर्नाटक में जाति वर्गीकरण का महत्व
भारत के संविधान के अनुच्छेद 341, 342, और 338B के तहत SC, ST, और OBC श्रेणियों की सूची तैयार की जाती है, जो सामाजिक और आर्थिक रूप से वंचित समुदायों को शिक्षा, नौकरी, और अन्य क्षेत्रों में आरक्षण प्रदान करती है। कर्नाटक में यह वर्गीकरण न केवल सामाजिक समावेशन को बढ़ावा देता है, बल्कि ऐतिहासिक रूप से उत्पीड़ित समुदायों को मुख्यधारा में लाने में भी मदद करता है। सामान्य श्रेणी में वे समुदाय शामिल हैं जो इन आरक्षित श्रेणियों में नहीं आते और सामाजिक-आर्थिक रूप से अपेक्षाकृत समृद्ध माने जाते हैं। कर्नाटक में 2011 की जनगणना के अनुसार, SC आबादी लगभग 17.15% (1.04 करोड़) और ST आबादी लगभग 7% (42.48 लाख) है, जबकि OBC आबादी का अनुमान 30-35% है। इस लेख में, हम इन श्रेणियों में शामिल प्रमुख जातियों और समुदायों को तालिकाओं के माध्यम से समझाएंगे, जो जानकारी को संक्षिप्त और स्पष्ट बनाएंगे।
अनुसूचित जाति (SC) की सूची और विशेषताएँ
अनुसूचित जातियाँ (SC) वे समुदाय हैं जो ऐतिहासिक रूप से सामाजिक, आर्थिक, और शैक्षिक रूप से वंचित रहे हैं। संविधान (अनुसूचित जाति) आदेश, 1950 के तहत कर्नाटक में 101 जातियाँ SC के रूप में अधिसूचित हैं। ये समुदाय परंपरागत रूप से कृषि, श्रम, और चमड़े के काम जैसे व्यवसायों से जुड़े रहे हैं। कर्नाटक सरकार और राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग (NCSC) द्वारा इन समुदायों के लिए विभिन्न कल्याणकारी योजनाएँ जैसे छात्रवृत्ति, आवास, और रोजगार सहायता चलाई जाती हैं। निम्नलिखित तालिका में कर्नाटक की कुछ प्रमुख SC जातियों की जानकारी दी गई है:
जाति का नाम | विवरण |
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आदि कर्नाटक (Adi Karnataka) | कर्नाटक की सबसे बड़ी SC जाति, ग्रामीण क्षेत्रों में कृषि और श्रम से जुड़ी। |
आदि द्रविड़ (Adi Dravida) | दक्षिण भारत का प्रमुख दलित समुदाय, सामाजिक और शैक्षिक विकास पर ध्यान। |
होलेया (Holeya) | परंपरागत रूप से खेतिहर मजदूर, गाँवों में सेवा कार्यों से जुड़े। |
मादिगा (Madiga) | चमड़े के काम और हस्तशिल्प से संबंधित, सामाजिक सुधारों का हिस्सा। |
चालवादी (Chalavadi) | गाँवों में सेवा कार्यों और सामुदायिक गतिविधियों से जुड़ा समुदाय। |
बंजारा (Banjara) | कुछ क्षेत्रों में SC, घुमंतू समुदाय, व्यापार और हस्तशिल्प से जुड़े। |
सामगर (Samagara) | चमड़े और हस्तशिल्प से संबंधित, कर्नाटक के कई हिस्सों में निवास। |
नोट: यह तालिका संक्षिप्त है। पूर्ण SC सूची के लिए कर्नाटक सरकार की सामाजिक कल्याण विभाग की वेबसाइट (http://swd.kar.nic.in) या NCSC पोर्टल (http://ncsc.nic.in) देखें। सुप्रीम कोर्ट ने 2024 में स्पष्ट किया कि केवल संसद ही अनुच्छेद 341 के तहत SC सूची में संशोधन कर सकती है।
अनुसूचित जनजाति (ST) की सूची और विशेषताएँ
अनुसूचित जनजातियाँ (ST) वे आदिवासी समुदाय हैं जो अपनी विशिष्ट संस्कृति, भौगोलिक अलगाव, और सामाजिक-आर्थिक पिछड़ेपन के कारण संरक्षण के पात्र हैं। संविधान (अनुसूचित जनजाति) आदेश, 1950 के तहत कर्नाटक में 50 से अधिक जनजातियाँ ST के रूप में अधिसूचित हैं। ये समुदाय मुख्य रूप से वन क्षेत्रों, जैसे चामराजनगर, कोडगु, और दक्षिण कन्नड़ में निवास करते हैं। 2022 में, केंद्रीय मंत्रिमंडल ने कर्नाटक के कुछ घुमंतू और अर्द्ध-घुमंतू समुदायों को ST सूची में शामिल करने की मंजूरी दी थी। निम्नलिखित तालिका में प्रमुख ST जनजातियों की जानकारी दी गई है:
जनजाति का नाम | विवरण |
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नाइकड़ा (Naikda) | दक्षिण कन्नड़ और उडुपी में निवास, कृषि और वन संसाधनों पर निर्भर। |
सोलिगा (Soliga) | चामराजनगर के बिलिगिरी रंगनाथ मंदिर क्षेत्र में निवास, वन संरक्षण से जुड़े। |
जेनु कुरुबा (Jenu Kuruba) | कोडगु और मैसूर में मधु संग्रह से जुड़ा आदिवासी समुदाय। |
बेट्टा कुरुबा (Betta Kuruba) | वन क्षेत्रों में निवास, परंपरागत रूप से शिकार और संग्रह से जुड़े। |
कोरगा (Korga) | तटीय क्षेत्रों में निवास, मत्स्य पालन और कृषि से संबंधित। |
हक्की पिक्की (Hakki Pikki) | घुमंतू समुदाय, शिकार और जड़ी-बूटी संग्रह से जुड़े। |
नोट: ST सूची में हाल के संशोधनों के लिए राष्ट्रीय अनुसूचित जनजाति आयोग (http://ncst.nic.in) या कर्नाटक सरकार की वेबसाइट देखें। ST समुदायों के लिए राष्ट्रीय अनुसूचित जनजाति वित्त एवं विकास निगम (NSTFDC) और कर्नाटक सरकार द्वारा स्वयं सहायता समूह और सूक्ष्म ऋण योजनाएँ संचालित की जाती हैं।
अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) की सूची और विशेषताएँ
अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) में वे जातियाँ और समुदाय शामिल हैं जो सामाजिक और शैक्षिक रूप से पिछड़े हैं, लेकिन SC या ST में नहीं आते। कर्नाटक में OBC को केंद्र और राज्य की सूचियों में विभाजित किया गया है, और राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग (NCBC) द्वारा इसकी समीक्षा की जाती है। OBC समुदाय कर्नाटक की सामाजिक और राजनीतिक संरचना में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं, जैसे वोकालिगा और लिंगायत। निम्नलिखित तालिका में कर्नाटक की प्रमुख OBC जातियों की जानकारी दी गई है:
जाति का नाम | विवरण |
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वोकालिगा (Vokkaliga) | प्रमुख कृषक समुदाय, OBC-A (अधिक पिछड़ा) श्रेणी में, सामाजिक रूप से प्रभावशाली। |
लिंगायत (Lingayat) | धार्मिक और सामाजिक रूप से महत्वपूर्ण, कुछ क्षेत्रों में OBC में शामिल। |
कुरुबा (Kuruba) | भेड़-बकरी पालन से जुड़ा समुदाय, ग्रामीण क्षेत्रों में व्यापक। |
एडिगा (Ediga) | शराब बनाने और व्यापार से जुड़ा समुदाय। |
देवांगा (Devanga) | बुनकर समुदाय, हस्तशिल्प और कपड़ा उद्योग से संबंधित। |
गंगमाथस्ता (Gangamathasta) | मछुआरा समुदाय, तटीय और ग्रामीण क्षेत्रों में निवास। |
नोट: OBC की पूर्ण सूची के लिए कर्नाटक सरकार के पिछड़ा वर्ग कल्याण विभाग (http://backwardclasses.kar.nic.in) या NCBC पोर्टल (http://ncbc.nic.in) देखें। OBC समुदायों के लिए कर्नाटक सरकार द्वारा छात्रवृत्ति, कोचिंग, और आर्थिक सहायता योजनाएँ उपलब्ध हैं।
सामान्य (General) श्रेणी की विशेषताएँ
सामान्य श्रेणी में वे समुदाय शामिल हैं जो SC, ST, या OBC में नहीं आते और सामाजिक-आर्थिक रूप से अपेक्षाकृत समृद्ध माने जाते हैं। कर्नाटक में सामान्य श्रेणी की कोई आधिकारिक सूची नहीं है, क्योंकि यह एक डिफ़ॉल्ट श्रेणी है। निम्नलिखित तालिका में सामान्य श्रेणी के कुछ प्रमुख समुदायों की जानकारी दी गई है:
समुदाय का नाम | विवरण |
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ब्राह्मण (Brahmin) | स्मार्त, मध्व, और श्रीवैष्णव जैसे उप-समुदाय, शिक्षा और धार्मिक कार्यों से जुड़े। |
बनिया (Bania) | कोमाटी और आर्य वैश्य जैसे व्यापारिक समुदाय। |
जैन (Jain) | धार्मिक और व्यापारिक समुदाय, कर्नाटक के शहरी क्षेत्रों में प्रभावशाली। |
क्षत्रिय (Kshatriya) | राजपूत जैसे योद्धा समुदाय, कुछ क्षेत्रों में पाए जाते हैं। |
निष्कर्ष
कर्नाटक में SC, ST, OBC, और सामान्य श्रेणियों में शामिल जातियाँ और समुदाय राज्य की सामाजिक और सांस्कृतिक विविधता को दर्शाते हैं। SC में आदि कर्नाटक और मादिगा जैसे समुदाय, ST में सोलिगा और जेनु कुरुबा जैसे आदिवासी समुदाय, OBC में वोकालिगा और लिंगायत जैसे प्रभावशाली समुदाय, और सामान्य श्रेणी में ब्राह्मण और जैन जैसे समुदाय शामिल हैं। यह जानकारी प्रामाणिक स्रोतों पर आधारित है और कर्नाटक के सामाजिक ढांचे को समझने के लिए उपयोगी है। अधिक जानकारी के लिए, कृपया कर्नाटक सरकार की आधिकारिक वेबसाइट्स या राष्ट्रीय आयोगों के पोर्टल्स का उपयोग करें।
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